नई दिल्ली । रेपो रेट 6.5 प्रतिशत पर बना रहेगा, एमपीसी की बैठक के बाद आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने इसका एलान कर दिया है। उन्होंने कहा कि बैंक मजबूत हैं। एनपीए घटा है। कॉरपोरेट बैलेंश शीट मजबूत हुए हैं। भारत के मजबूत मैक्रोइकोनॉमिक फंडामेंटल बने हुए हैं। भारतीय अर्थव्यवस्था में मजबूती बनी हुई है। आरबीआई गवर्नर ने कहा है कि सब्जियों की कीमत बढ़ने से महंगाई पर असर पड़ा है। जुलाई अगस्त में महंगाई बढ़ने का अनुमान है। एमपीसी की बैठक के बाद बोलते हुए आरबीआई गवर्नर ने बताया है कि रिजर्व बैंक ने कर्जदारों को निश्चित ब्याज दर व्यवस्था अपनाने की अनुमति देने की रूपरेखा का प्रस्ताव किया है।
उन्होंने बताया कि एमपीसी की बैठक के दौरान सभी सदस्य सर्वसम्मति से ब्याज दरों को स्थिर रखने के पक्ष में रहे। उन्होंने यह भी बताया कि ग्लोबल स्तर पर ब्याज दरें लंबे समय तक बनी रहेंगी। आरबीआई गवर्नर ने कहा कि ग्लोबल इकोनाॅमी में महंगाई और कर्ज की चुनौतियां कायम हैं। आरबीआई गवर्नर ने कहा कि दूसरे देशों की तुलना में भारत आर्थिक चुनौतियों से निपटने में अधिक सक्षम है।
एमपीसी की बैठक के बाद आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा है कि हमारी अर्थव्यवस्था उचित गति से बढ़ती रही है और दुनिया की 5वीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन गई है और वैश्विक विकास में लगभग 15% का योगदान दे रही है। आरबीआई गवर्नर ने कहा कि FY 24 में सीपीआई 5.1% से बढ़कर 5.4% रहने का अनुमान है। आरबीआई के मुखिया ने कहा कि FY24 में जीडीपी 6.5% रह सकती है। वहीं FY25 में जीडीपी 6.6% रह सकती है। FY25 में सीपीआई 5.2% रहने का अनुमान है। आरबीआई गवर्नर ने कहा कि मौद्रिक नीति का संचरण अब भी जारी है, क्योंकि हेडलाइन मुद्रास्फीति 4 प्रतिशत के लक्ष्य से अधिक बनी हुई है। आरबीआई गवर्नर दास ने कहा कि एमपीसी मुद्रास्फीति को लेकर सतर्क रहेगी और मुद्रास्फीति को लक्षित स्तर पर लाने की अपनी प्रतिबद्धता पर दृढ़ रहेगी।